Supreme court to hear 45 petitions in sabarimala temple row | The Bihar News

सबरीमाला मंदिरः 45 पुनर्विचार याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट आज करेगा सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्ष्ता वाली पांच जजों की संविधान पीठ केरल के सबरीमाला मंदिर में सभी उम्र की महिलाओं को प्रवेश देने के फैसले पर पुनर्विचार करने की मांग वाली याचिकाओं पर मंगलवार को सुनवाई करेगी।

याचिकाकर्ताओं का कहना है कि कोर्ट ने महिलाओं को मंदिर में प्रवेश देने का आदेश देकर मंदिर की पंरपरराओं से छेड़छाड़ की है। यह मंदिर नैस्तिक ब्रहमचारी का मंदिर है, जिसमें रजस्वला उम्र की महिलाओं को प्रवेश प्रतिबंध है। कोर्ट इस परंपरा में देखल नहीं दे सकता। सुप्रीम कोर्ट ने सितंबर में दिए फैसले में 4: 1 के बहुमत से मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का रास्ता खोल दिया था। पीठ की एक मात्र महिला जज इंदु मल्होत्रा ने मंदिर की परंपराओं का ख्याल रखते हुए महिलाओं के प्रवेश का विरोध किया था।

अवमानना का मामला चलाने की अनुमति देने से इनकार  

देश के सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने सबरीमामला मंदिर में महिलाओं को प्रवेश देने के आदेश का पालन न करने पर मंदिर के कार्यकर्ताओं पर अवमानना का मामला चलाने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है। कुछ महिलाओं ने फैसले का पालन न करने देने वालों के खिलाफ अवमानना का मामला चलाने के लिए अटार्नी जरनल की अनुमति मांगी थी। अटार्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने इस मामले से खुद को अलग रख लिया था और मामला मेहता के पास भेज दिया था। सुप्रीम कोर्ट के फैसलों को अनुपालन न होने की स्थिति में अटार्नी जरनल की अनुमति से अवमानना की कार्यवाही चलाई जा सकती है।

सबरीमाला मामले में सर्वदलीय बैठक पर विचार

केरल सरकार इस सप्ताह शुरू हो रहे वार्षिक तीर्थयात्रा सत्र से पहले सबरीमाला मंदिर से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर चर्चा के लिए एक सर्व-दलीय बैठक आयोजित कर सकती है। रजस्वला आयु वर्ग की महिलाओं के प्रवेश के मुद्दे पर सबरीमाला मंदिर में गतिरोध जारी है।

देवस्वम मंत्री कडक्कमपल्ली सुरेंद्रन ने कहा कि हम एक सर्वदलीय बैठक आयोजित करने पर विचार कर रहे हैं। हमने अभी तक एक अंतिम निर्णय नहीं लिया है। ऐसी योजना है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश से मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं को पूजा की इजाजत मिलने के खिलाफ लगातार जारी विरोध की पृष्ठभूमि में सबरीमाला स्थित भगवान अयप्पा का मंदिर 17 नवंबर को दो महीना के लिए खुलेगा। सुप्रीम कोर्ट ने 28 सितंबर के आदेश में 10 से 50 साल आयु वर्ग की महिलाओं के मंदिर में प्रवेश पर लगे प्रतिबंध को हटा दिया था। इस फैसले के खिलाफ कई पुनरीक्षण याचिकाओं पर मंगलवार को सुनवाई होगी।

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